इफ्तखार अर्शी
Moradabad News: घर के दरवाजे पर खेल रहे तीन वर्ष के बालक को आवारा कुत्ते ने काट लिया। उसका दस दिन तक सरकारी अस्पताल में उपचार चला, लेकिन डाक्टर जिंदगी नहीं बचा पाए। हालांकि, चिकित्सकों ने बालक को चार एंटीरैबीज इंजेक्शन लगवाएं। फिर भी हाइडोफोबिया से बालक की मौत हो गई। उसकी मौत से परिवार में कोहराम मच गया। परिवार वालो ने दोपहर के वक्त बालक के शव को सुपुर्द ए खाक कर दिया।
जनपद मुरादाबाद के ग्राम शरीफ नगर नई बस्ती घानीपुरा निवासी शमीम अहमद का तीन वर्षीय बेटा मोहम्मद श्यान 22 अगस्त को घर के दरवाजे पर खेल रहा था। इस बीच आवारा कुत्ते ने श्यान को बुरी तरह घायल कर दिया था। उसके शरीर पर सात आठ जगह जख्म थे। स्वजन घायल अवस्था में श्यान को लेकर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र ठाकुरद्वारा पहुंचे। जहां पर चिकित्सकों ने प्राथमिक उपचार के बाद अगले दिन आकर एंटीरैबीज इंजेक्शन लगवाने की सलाह दी।
23 अगस्त को स्वजन दोबारा लेकर सरकारी अस्पताल पहंुचे। जहां पर एंटीरैबीज इंजेक्शन लगवाया। इसके बाद 26 अगस्त और 30 अगस्त को सरकारी अस्पताल में एंटीरैबीज इंजेक्शन लगवाया गया। इसके बाद पांच सितंबर को एंटीरैबीज इंजेक्शन लगवाने की सलाह दी। लेकिन पांच सितंबर से पहले ही बालक की हालत बिगड़ गई तो बीती रात स्वजन बालक को लेकर जिला अस्पताल पहंुचे। जहां पर उपचार के दौरान श्यान की मौत हो गई।
स्वजनों का कहना है कि चिकित्सकों ने कोई कागज नहीं दिया। उनको शव लेकर वापस घर भेज दिया। शव को दोपहर के वक्त गांव के ही कब्रिस्तान में दफना दिया गया। चिकित्साधीक्षक राजपाल सिंह ने बताया कि गंभीर जख्मी मरीज को पांच इंजेक्शन लगते हैं। बालक के परिजन उनके संपर्क में नहीं आए हैं। कल मामले को दिखवाएंगे।